भिलाई में पकड़ाई बांग्लादेशी महिला, दो साल से पहचान छिपाकर रह रही पन्ना बीबी को पुलिस ने किया गिरफ्तार

अवैध अप्रवासियों की धरपकड़ के लिए गठित स्पेशल टास्क फोर्स एसटीएफ व्दारा की गयी कार्रवाई
भिलाई। छत्तीसगढ़ में अवैध रूप रह रहे अप्रवासियों के धरपकड़ के लिए गठित
स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) को बड़ी सफलता मिली है। भिलाई में दो साल से
नाम व पहचान छिपाकर रह रही बांग्लादेशी महिला पन्ना बीबी को पुलिस ने
गिरफ्तार किया है। बांग्लादेशी महिला पन्ना बीबी भिलाई में अंजली सिंह
उर्फ काकोली घोष के नाम से पहचान छिपाकर रहते पाई गई। आधार कार्ड को एडिट
कर फर्जी तरीके से दस्तावेज तैयार किए जिसका इलाज में उपयोग किया गया।
बांग्लादेशी महिला के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता 2023 विदेशी नागरिक
विषयक अधिनियम 1946 एवं भारतीय पासपोर्ट अधिनियम 1920 के तहत कार्रवाई की
गई।
ज्ञातव्य हो कि छत्तीसगढ़ में अवैध रूप से रह रहे, बांग्लादेशी रोहिंग्या
घुसपैठियों की पहचान कर, उनके विरुद्ध प्रभावी कार्यवाही करने एवं उन्हें
वापस भेजे जाने दुर्ग जिला में विशेष कार्य बल (एसटीएफ) का गठन किया गया
है। एसटीएफ व्दारा लगातार दुर्ग में अवैध रूप रह रहे बांग्लादेशी
घुसपैठियों की पहचान हेतु कार्यवाही की जा रही है। अवैध घुसपैठियों की
पहचान की इस कड़ी में 14 मई को पता चला कि सुपेला नेहरू रोड में सूरज साव
के मकान में एक बांग्लादेशी महिला अपनी पहचान छिपाते हुए काकोली घोष उर्फ
अंजली सिंह के छद्म नाम से रह रही है। इस सूचना तस्दीकी एवं अग्रिम
कार्यवाही हेतु एसटीएफ को निर्देशित किया गया।
पूछताछ में पुलिस को गुमराह करने लगी महिला:-
जब एसटीएम की टीम के व्दारा सूरज साव के मकान में रह रही महिला से पूछताछ
की गई तो उसने गुमराह करने का प्रयास किया। उसने अपना नाम अंजली सिंह,
पूर्वी दिल्ली, नांगलोई निवासी होना बताया। अंजली सिंह के नाम से आधार
कार्ड भी प्रस्तुत किया, जो जांच के दौरान पहली नजर में सन्देहास्पद पाया
गया। महिला से बारीकी से पूछताछ करने पर उसने अपना मूल नाम पन्ना बीवी
पिता अब्दुल रौफ उम्र लगभग 25 वर्ष मूल निवासी दीधीरपार, दौलतपुर फुलवारी
गेट, पोस्ट-बादामतला सिरामोनी जिला खुलना बांग्लादेश का होना बताई।
पश्चिम बंगाल के बार्डर से अवैध रूप से इस प्रकार पहुंची थी भारत:-
जांच के दौरान पाया गया कि पन्ना बीवी लगभग 08 वर्ष पूर्व बिना वैध
पासपोर्ट एवं वीजा के अवैध रूप से बाग्लादेश से बोन्गांव पेट्रोपोल, जिला
उत्तर 24 परगना, पश्चिम बंगाल स्थित भारत बांग्लादेश अंर्तराष्ट्रीय
बॉर्डर से अवैध रूप से भारत में प्रवेश किया। कोलकाता आकर अपना नाम
काकोली घोष बता कर सोनागाछी में लगभग 5 वर्ष अवैध रूप से रही। वहां से
दिल्ली में लगभग 1 वर्ष रही। दिल्ली में रहने के दौरान भिलाई निवासी पूजा
नामक लड़की से परिचय होने के बाद उसके साथ भिलाई आकर विगत लगभग 2 वर्षों
से सुपेला नेहरू रोड स्थित सूरज साव के मकान में रह रही थी।
मूल निवास बांग्लादेश आना-जाना पाया गया:-
भिलाई रहने के बांग्लादेशी महिला पन्ना बीवी द्वारा जसौर बोन्गांव
पेट्रोपोल जिला- उत्तर 24 परगना स्थित भारत बांग्लादेश अंर्तराष्ट्रीय
बॉर्डर से कई बार बांग्लादेश स्थित अपने मूल निवास आना-जाना करना पाया
गया। पन्ना बीवी द्वारा संचालित मोबाइल की जांच किए जाने पर इसके व्दारा
अपने मोबाइल फोन से बांग्लादेश के लगभग एक दर्जन से अधिक मोबाइल नम्बरों
से पिता, भाई, बहन एवं अन्य रिश्तेदारों से लगातार बात करना एवं सम्पर्क
में रहना पाया गया। जांच के दौरान संदिग्ध बांग्लादेशी नागरिक पन्ना बीवी
द्वारा स्वयं को अंजली सिंह ष्ट/ह्र परमजीत सिंह, मकान नंबर 32 ए. 33. 34
निहाल विहार नांगोली वेस्ट दिल्ली 110041 आधार कार्ड नंबर 921756650853
को एडिट कर उसे अपना बताया। आधार की फोटो ब्लर किया गया जिससे पहचान
छिपाई जा सके। बांग्लादेशी नागरिक की मूल पहचान को छिपाने के लिए काकोली
घोष एवं अंजली सिंह के नाम से निवास करना, अंजली सिंह के नाम से स्वयं को
दिल्ली निवासी बताकर फर्जी आधार कार्ड तैयार कर प्रस्तुत कर उसका
दुरूपयोग करना अपराध धारा विदेशी विषयक अधिनियम 1946 की धारा 14 (1) एवं
पासपोर्ट (भारत में प्रवेश) अधिनियम 1920 की धारा 3(2), 3(3) एवं धारा
318, 319, 336(3) बीएनएस का होना पाए जाने से अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना
में लिया गया।
मकान मालिक पर की जा रही है कार्रवाई:-
बांग्लादेशी महिला पन्ना बीबी नेहरू चौक सुपेला स्थित सूरज साव के मकान
में किराए से रह रही थी मकान मालिक व्दारा भी किराएदार के संबंध में किसी
प्रकार की कोई सूचना थाना में नहीं दी जाकर इसे जानबूकर छिपाकर
बांग्लादेशी महिला का सहयोग किया जाना पाए जाने पर मकान मालिक सूरज साव
के विरूद्ध भी वैधानिक कार्यवाही की जा रही है। सम्पूर्ण कार्यवाही में
एसटीएफ प्रभारी नगर पुलिस अधीक्षक सत्य प्रकाश तिवारी, निरीक्षक विजय
यादव थाना प्रभारी सुपेला एवं उनकी टीम तथा एसटीएफ के सउनि रमेश सिन्हा,
पंकज चतुर्वेदी एवं संतोष गुप्ता की उल्लेखनीय भूमिका रही।